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बाहुबली के पटकथा लेखक जल्द लाएंगे 180 करोड़ की लागत से बनी आरएसएस पर आधारित एक फिल्म

आरएसएस के कार्यकर्ताओं का फाइल फोटो| पीटीआई

आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने फिल्म के कथानक को दिखाई हरी झंडी, 2019 के लोकसभा चुनावों से पहले की जा रही है फिल्म के रिलीज होने की उम्मीद।

नई दिल्लीः सत्तारूढ़ बीजेपी के वैचारिक जनक आरएसएस के इतिहास और उपलब्धियों का जश्न मनाते हुए,180 करोड़ रुपये की लागत से लिखी गई मल्टी-स्टारर (एक से अधिक कलाकारों से सुसस्जित) हिंदी फिल्म आपके पड़ोसी सिनेमाघरों में जल्द ही आ रही है।

दिप्रिंट को ज्ञात हुआ है कि फिल्म के कथानक को किसी और ने नहीं बल्कि संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने मंजूरी दी है।
फिल्म को 2019 के लोकसभा चुनावों से पहले रिलीज होने की उम्मीद की गई है, हालांकि परियोजना के पीछे के लोग चुनाव के साथ इसके किसी भी लिंक को होने से इनकार कर रहे हैं।

फिल्म बाहुबली पटकथा के लेखक के. वी. विजेंद्र प्रसाद द्वारा लिखित, इस फिल्म का कथानक भागवत और संघ के विचारक गुरुमूर्ति के साथ मशवरा करके तैयार किया गया है।

इस प्रोजेक्ट पर,प्रसाद के बेटे एस.एस. राजमौली द्वारा निर्देशित ब्लॉकबस्टर फिल्म बाहुबली-2 के रिलीज के तुरंत बाद,इस पर काम शुरू कर दिया गया था।

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इस प्रोजेक्ट को लेक ,कन्नड़ सिनेमा ऑडियो टाइकून लाहरी वेलु थुलासी नायडू , जिन्हें बीजेपी का करीबी जाना जाता है, जो बाहुबली-2 की सफलता के तुरंत बाद आरएसएस पर एक फिल्म के विचार के साथ आये थे।

फिल्म के निर्माताओ में से एक वेलु ने कहा कि “बाहुबली-2 के रिलीज होने के बाद जब यह विचार मेरे मन में आया तो मैं चेन्नई से बेंगलुरु की यात्रा पर था और इस विचार के साथ मैंने जल्द ही इस फिल्म के दो शीर्षकों को सुरक्षित रखने के लिए अपने मैनेजर को फोन किया।”

वेलु ने आगे कहा कि इस फिल्म के लिए दो शीर्षक “आरएसएस भगवा ध्वज” और “आरएसएस” पंजीकृत हैं।

वेलु ने बताया कि वह और प्रसाद गुरूमूर्ति से मिले। गुरूमूर्ति कथानक तैयार करने में उनकी सहायता कर रहे हैं।
दोनों आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से भी मिले और इस उनके सामने इस प्रस्ताव को विस्तार पूर्वक प्रस्तुत किया। भागवत ने इनको आरएसएस पर लिखी गई कुछ पुस्तकें प्रदान कीं ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि फिल्म के कथानक को अच्छी तरह से शोध के साथ तैयार की जाय और यह बिलकुल सही हो।

27 लोगों की टीम के साथ प्रसाद इस परियोजना पर काम कर रहे हैं,लेकिन अभी तक निर्देशक को चुना जाना बाकी है।
टीम अब तक तीन बार भागवत से मुलाकात कर चुकी है और दो महीने पहले आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत को इसका कथानक सुनाया जा चुका है। वेलु ने बताया कि इस कथानक से भागवत बहुत खुश थे।

सूत्रों का कहना है कि आरएसएस इस परियोजना को लेकर काफी उत्साही है क्योंकि यह फिल्म आसएसएस की विचारधारा और कामकाज को लेकर चले आ रहे संदेहों को दूर करने में एक काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
एक सूत्र से ज्ञात हुआ है कि टीम ने फिल्म के प्रचार-प्रसार के लिए जी समूह के मीडिया उद्द्योगपति, सुभाष चंद्र और मोशन पिक्चर्स के राज सिंह से सहायता माँगी है। सुभाष चंद्र राज्यसभा सांसद भी हैं।

वेलु का कहना है कि फिल्म में सर्वश्रेष्ठ कलाकारो का चयन किया जाएगा, हालांकि अभी तक किसी कलाकार का नाम घोषित नहीं किया गया है। हिन्दी के अलावा इस फिल्म को तेलुगू में भी रिलीज किया जाएगा।

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