होम देश अर्थजगत सीतारमण ने आईएमएफ प्रमुख से भू-राजनीतिक हालात पर चर्चा की

सीतारमण ने आईएमएफ प्रमुख से भू-राजनीतिक हालात पर चर्चा की

वाशिंगटन, 19 अप्रैल (भाषा) वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) की प्रबंध निदेशक क्रिस्टलीना जॉर्जिवा से मुलाकात की और भू-राजनीतिक हालात तथा इसके आर्थिक प्रभाव सहित कई मुद्दों पर चर्चा की।

आईएमएफ और विश्व बैंक की वार्षिक बसंत बैठकों के मौके पर हुई इस भेंट के दौरान आईएमएफ प्रमुख ने भारत की अच्छी तरह से लक्षित नीति का उल्लेख किया, जिसने देश की अर्थव्यवस्था को सीमित वित्तीय साधनों के साथ भी मजबूत बने रहने में मदद की है।

उम्मीद है कि दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में भारत की वृद्धि दर सबसे अधिक रहेगी। आर्थिक समीक्षा के अनुसार, देश चालू वित्त वर्ष में 8-8.5 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज कर सकता है।

वित्त मंत्रालय ने एक ट्वीट में कहा, ‘‘हाल के भू-राजनीतिक घटनाक्रमों पर चर्चा करते हुए वित्त मंत्री सीतारमण और जॉर्जिवा ने वैश्विक अर्थव्यवस्था पर इसके प्रभाव और इसके कारण ऊर्जा की बढ़ती कीमतों से जुड़ी चुनौतियों के बारे में चिंता जताई।’’

सीतारमण ने आर्थिक पुनरुद्धार पर भारतीय नीति के संबंध में बताया कि सरकार पूंजीगत व्यय के जरिये आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा दे रही है। उन्होंने कहा कि प्रमुख संरचनात्मक सुधारों और मजबूत मौद्रिक नीतियों के साथ देश के उदार राजकोषीय रुख ने महामारी से उबरने में मदद की है।

चर्चा के दौरान जॉर्जिवा ने भारत की अच्छी तरह लक्षित नीति का उल्लेख किया, जिसने देश की अर्थव्यवस्था को सीमित वित्तीय साधनों के साथ भी लचीला रहने में मदद की है। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस महामारी से पैदा हुई चुनौतियों के बावजूद भारत सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था है, जो उसकी मजबूती को दर्शाता है।

वित्त मंत्रालय द्वारा जारी बयान के अनुसार, जॉर्जिवा ने भारत द्वारा श्रीलंका को दी गई मदद की सराहना की और भरोसा दिया कि आईएमएफ पड़ोसी देश की मदद सक्रिय रूप से करता रहेगा।

सीतारमण और जॉर्जिवा ने भू-राजनीतिक घटनाओं से वैश्विक अर्थव्यवस्था पर पड़े प्रभाव और बढ़ती ऊर्जा कीमतों से जुड़ी चुनौतियों के बारे में भी चिंता जताई। रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण दुनियाभर में ऊर्जा और जिंस कीमतों में उछाल आया है।

इसके अलावा, वित्त मंत्री ने कहा कि महामारी के दौरान अच्छे मानसून से कृषि उत्पादन बढ़ा, जिससे भारत को मदद मिली है।

सीतारमण ने कहा कि अन्य उत्पादों के साथ देश के कृषि निर्यात में भी तेजी से वृद्धि हुई है। भारत नई आर्थिक गतिविधियों में प्रवेश कर रहा है, जिससे वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला के कुछ मुद्दों को हल करने में मदद मिलेगी।

सीतारमण ने आईएमएफ-विश्व बैंक की बैठक के मौके पर श्रीलंका के वित्त मंत्री अली साबरी से भी मुलाकात की और श्रीलंका की मौजूदा आर्थिक स्थिति तथा चुनौतियों पर चर्चा की। उन्होंने साबरी को भरोसा दिया कि एक घनिष्ठ मित्र और अच्छे पड़ोसी के रूप में, भारत श्रीलंका को हरसंभव मदद देने की कोशिश करेगा।

सीतारमण ने इंडोनेशिया की वित्त मंत्री मुल्यानी इंद्रावती के साथ बैठक भी की।

भाषा पाण्डेय अजय

अजय

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