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मिजोरम की मतदाता सूची से हटेगा ब्रू समुदाय के 11 हजार लोगों का नाम

यह निर्णय उस समझौते के बाद लिया गया है जिसमें इस जनजातीय समुदाय के लोगों को त्रिपुरा में स्थायी रूप से रहने की अनुमति दी गयी थी.

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असम के गुवाहाटी में प्रदर्शन करते ब्रू समुदाय के लोग, प्रतीकात्मक तस्वीर, फाइल फोटो.

आइजोल: त्रिपुरा के राहत शिविरों में रह रहे ब्रू समुदाय के 11 हजार लोगों का नाम उनकी गृहभूमि मिजोरम की मतदाता सूची से हटा दिया जाएगा.

यह जानकारी एक वरिष्ठ अधिकारी ने गुरुवार को दी.

यह निर्णय उस समझौते के बाद लिया गया है जिसमें इस जनजातीय समुदाय के लोगों को त्रिपुरा में स्थायी रूप से रहने की अनुमति दी गयी थी.

ब्रू समुदाय के हजारों लोग त्रिपुरा के राहत शिविरों में 1997 से रह रहे हैं जिन्हें सामुदायिक हिंसा के चलते मिजोरम छोड़कर पड़ोसी राज्य में आना पड़ा था.

अब तक इन विस्थापित लोगों की संख्या लगभग 34,000 हो चुकी है.

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मिजोरम के मुख्य निर्वाचन अधिकारी आशीष कुंद्रा ने पीटीआई-भाषा से कहा कि राज्य की मतदाता सूची से ब्रू मतदाताओं का नाम हटाने की प्रक्रिया राहत शिविरों को बंद करने के बाद शुरू किए जाने की संभावना है.

उन्होंने कहा, ‘ब्रू मतदाताओं के नाम हटाने संबंधी कार्रवाई मतदाता सूची के अगले पुनरीक्षण कार्य के दौरान किए जाने की संभावना है. यह निर्वाचन आयोग की स्वीकृति लेने के बाद जन प्रतिनिधित्व अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार किया जाएगा.’

पिछले साल लोकसभा चुनाव में त्रिपुरा के छह राहत शिविरों में कुल 12,081 ब्रू मतदाता थे.

इनमें से केवल 33.54 प्रतिशत मतदाताओं ने मिजोरम-त्रिपुरा सीमा पर एक गांव में विशेष रूप से उनके लिए स्थापित किए गए 15 मतदान केंद्रों पर अपने मताधिकार का प्रयोग किया.

कुंद्रा ने कहा कि ब्रू मतदाताओं की सटीक संख्या अभी ज्ञात नहीं की जा सकती क्योंकि उनमें से कुछ मिजोरम लौट आए हैं.

उन्होंने उम्मीद जताई कि जो ब्रू मतदाता 16 जनवरी को हुए समझौते से पहले मिजोरम नहीं लौटे थे, उन्हें त्रिपुरा की मतदाता सूची में शामिल कर लिया जाएगा.

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