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सिद्धरमैया ने सूखे से निपटने के लिए राहत जारी करने में केंद्र के ‘अन्याय’ के खिलाफ धरना दिया

उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी | एएनआई
इसरो वैज्ञानिक एन. वलारमथी | ट्विटर/@DrPVVenkitakri1

बेंगलुरु, 28 अप्रैल (भाषा) कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने उप मुख्यमंत्री डी.के. शिवकुमार, मंत्रियों और विधायकों के साथ रविवार को यहां धरना दिया और आरोप लगाया कि केंद्र सरकार ने सूखे से निपटने के लिए राहत राशि जारी करने में राज्य के साथ ‘‘अन्याय’’ किया है।

धोखे के प्रतीक के रूप में खाली ‘लोटा’ हाथ में पकड़े हुए नेताओं ने केंद्र पर गंभीर सूखे से निपटने के लिए पर्याप्त राहत जारी नहीं कर कर्नाटक को ‘‘धोखा’’ देने का आरोप लगाया। कर्नाटक में पिछले कई दशकों में ऐसा सूखा नहीं देखा गया।

उन्होंने ‘विधानसौध’ परिसर में महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने प्रतीकात्मक धरना दिया। इसी परिसर में विधानमंडल और सचिवालय हैं।

राज्य सरकार ने कर्नाटक के कुल 236 तालुकाओं में से 226 को सूखाग्रस्त घोषित किया है और कहा है कि 48 लाख हेक्टेयर भूमि में फसल का नुकसान हुआ है।

सिद्धरमैया के मुताबिक, सूखे से निपटने के लिए 18,171 करोड़ रुपये की मांग के बदले केंद्र सरकार ने केवल 3,454 करोड़ रुपये जारी करने का आदेश दिया। उन्होंने कहा कि यह आदेश भी राज्य द्वारा उच्चतम न्यायालय का रुख करने के बाद दिया गया है।

उन्होंने कहा यह राशि राज्य की मांग का एक चौथाई भी नहीं है।

भाषा खारी रंजन

रंजन

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