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Thursday, 25 April, 2024
होमखेलअपने बलिदानों को जाया नहीं होने देना चाहती भारतीय महिला फुटबॉल खिलाड़ी

अपने बलिदानों को जाया नहीं होने देना चाहती भारतीय महिला फुटबॉल खिलाड़ी

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मुंबई, 19 जनवरी (भाषा) भारतीय महिला फुटबॉल टीम की खिलाड़ी खुद को बार बार उन बलिदानों के बारे में याद करा रही हैं जो उन्होंने एएफसी एशियाई कप के फाइनल्स तक पहुंचने के लिये किये हैं और अब उनका ध्यान इस बात पर लगा है कि ये जाया नहीं जायें।

यह महाद्वीपीय टूर्नामेंट गुरूवार से यहां शुरू हो रहा है और भारतीय महिला फुटबॉल टीम का पहला लक्ष्य क्वार्टरफाइनल और अपने पहले फीफा विश्व कप क्वालीफिकेशन का स्थान हासिल करने के करीब पहुंचना है।

ईरान के खिलाफ शुरूआती मुकाबले की पूर्व संध्या पर टीम की खिलाड़ियों ने टूर्नामेंट की तैयारियों के लिये घर से दूर रहने के समय, ट्रेनिंग और विदेशी दौरों के बारे में बात की।

फारवर्ड संजू यादव ने कहा, ‘‘एक साल हो गया है, मैंने अपने माता पिता को नहीं देखा। पहले तो मैं रिहैबिलिटेशन में थी और फिर महामारी आ गयी। मैं इतनी चिंतित थी और फिर मैं लंबे समय से शिविर में हूं। कभी कभार मैं अकेलापन महसूस करती हूं लेकिन यह सब एक कारण के लिये है। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘मेरे सारे बलिदान टूर्नामेंट के लिये ही हैं। अभी तक जो मैंने टूर्नामेंट खेले हैं, यह उनमें सबसे बड़ा है। मुझे किसी भी हालत में इन बलिदानों को महत्वपूर्ण बनाना होगा। ’’

जमशेदपुर में छह महीने के शिविर के लिये एकजुट होना और दुनिया की तथा एशिया की भी कुछ मजबूत टीमों के खिलाफ खेलने से खिलाड़ी एकजुट हुई हैं।

युवा विंगर मनीषा कल्याण ने पिछले साल नवंबर में मजबूत ब्राजील के खिलाफ एकमात्र गोल दागा था। उन्होंने कहा, ‘‘कई लोग मेरे गोल को लाइव नहीं देख सके थे क्योंकि मैच तड़के हुआ था। लेकिन जब उन्होंने हाइलाइट देखीं तो मुझे कई सारे संदेश मिले। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘हालांकि यह मैच अब खत्म हो गया है लेकिन ब्राजील का मैच एशियाई कप की तैयारियों का ही हिस्सा था। एशियाई कप काफी बड़ा मंच है। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘भारत को गौरवान्वित करने का यह मेरा मौका है। मैं सभी से हमें शुभकामनायें देने की प्रार्थना करूंगी। यह हमारे देश के लिये शानदार मौका है और यह मेरे लिये एशियाई में अच्छा करने का मौका है। ’’

ब्राजील के खिलाफ मैच के बाद एक विशेष मौका आया जब भारतीय टीम (ब्लू टाइग्रेस) का सामना वेनेजुएला से हुआ। मिडफील्डर कार्तिका अंगामुथु ने दक्षिण अमेरिकी देश के खिलाफ अपना सीनियर टीम में पदार्पण किया।

कार्तिका ने कहा, ‘‘भारत के लिये पदार्पण हमेशा मेरे लिये विशेष क्षण रहेगा। कोच ने भी मुझे छोटा सा स्मृति चिन्ह दिया जिसे मैं हमेशा अपने साथ रखूंगी। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘एशियाई कप के लिये शुरूआती एकादश में जगह बनाना भी एक प्रतिस्पर्धा है। अगर मुझे मौका मिलता है तो मैं इसका पूरा फायदा उठाना चाहूंगी। मैं इसे अपने पदार्पण से भी विशेष बनाना चाहूंगी। ’’

मुख्य कोच थॉमस डेनेरबी भी लंबे समय से अपने परिवार से दूर हैं। उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन कोई शिकायत नहीं। लड़कियां सही मायने में स्टार हैं और हमें एक दूसरे की मदद करने की जरूरत है। एशियाई कप जैसे टूर्नामेंट में हमें एकजुट रहने की जरूरत है। ’’

भाषा नमिता सुधीर

सुधीर

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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