मुंबई, 29 अक्टूबर (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बुधवार को कहा कि भारत का समुद्री क्षेत्र तीव्र गति और ऊर्जा के साथ आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि देश के बंदरगाह अब विकासशील देशों वाले सबसे कुशल बंदरगाहों में गिने जाते हैं।
मुंबई में भारतीय समुद्री सप्ताह-2025 में ‘मैरीटाइम लीडर्स कॉनक्लेव’ को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा, “हमने एक सदी से भी अधिक पुराने औपनिवेशिक नौवहन अधिनियमों को 21वीं सदी के लिए अनुरूप आधुनिक और भविष्योन्मुखी कानूनों से बदल दिया है।”
मोदी ने कहा, “आज, भारत के बंदरगाह विकासशील देशों में सबसे कुशल बंदरगाहों में गिने जाते हैं। कई मायनों में, वे विकसित देशों से भी बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं।”
उन्होंने कहा कि नये जहाजरानी कानून राज्य समुद्री बोर्डों की भूमिका को मजबूत करते हैं तथा बंदरगाह प्रबंधन में डिजिटल प्रौद्योगिकियों के एकीकरण को बढ़ावा देते हैं।
उन्होंने कहा कि ‘भारत के नौवहन दृष्टिकोण’ के तहत 150 से अधिक पहल शुरू की गई हैं, जिसके परिणामस्वरूप समुद्री क्षेत्र में महत्वपूर्ण सुधार हुए हैं।
मोदी ने कहा कि भारत के प्रमुख बंदरगाहों की क्षमता दोगुनी हो गई है और ‘टर्नअराउंड’ समय में उल्लेखनीय कमी आई है।
टर्नअराउंड समय से आशय किसी परियोजना के शुरू होने से पूरा होने तक लगने वाले वाले समय से है।
उन्होंने कहा कि क्रूज पर्यटन में पर्याप्त बढ़ोतरी हुई है तथा अंतरदेशीय जलमार्गों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है, तथा माल वाहन में 700 प्रतिशत से अधिक का इजाफा हुआ है।
उन्होंने कहा कि चालू जलमार्गों की संख्या मात्र तीन से बढ़कर 32 हो गई है, जो एक प्रभावशाली उपलब्धि है। मोदी ने कहा, “इसके अलावा, पिछले एक दशक में हमारे बंदरगाहों के शुद्ध वार्षिक अधिशेष में नौ गुना वृद्धि हुई है।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि समुद्री क्षेत्र भारत के विकास को गति दे रहा है। उन्होंने आगे कहा कि पिछले एक दशक में इसमें उल्लेखनीय बदलाव आया है, जिससे व्यापार और बंदरगाह के बुनियादी ढांचे को बढ़ावा मिला है।
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प्रशांत माधव
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