पुणे, 14 नवंबर (भाषा) पुणे की एक विशेष अदालत ने शुक्रवार को सॉफ्टवेयर इंजीनियर जुबैर हंगरगेकर को 28 नवंबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया। उसे महाराष्ट्र एटीएस ने अलकायदा और ‘अल कायदा इन द इंडियन सबकॉन्टिनेंट’ जैसे प्रतिबंधित संगठनों के साथ कथित संबंधों के साथ-साथ कट्टरपंथी गतिविधियों में संदिग्ध संलिप्तता के आरोप में गिरफ्तार किया था।
एटीएस ने इससे पहले अदालत को बताया कि तलाशी के दौरान एक व्यक्ति के पास से हंगरगेकर का पुराना फोन बरामद किया गया।
इसने कहा, ‘‘फोन की संपर्क सूची के विश्लेषण के दौरान पांच अंतरराष्ट्रीय फोन नंबर पाए गए, जिनमें से एक पाकिस्तान से, दो सऊदी अरब से और एक-एक कुवैत तथा ओमान से था। हालांकि फोन की कॉल डिटेल रिकॉर्ड में सेव किए गए इन नंबरों पर कोई कॉल नहीं दिखाई दे रही थी।’’
अभियोजन पक्ष ने अदालत को बताया कि हंगरगेकर से नंबरों (जिनमें से एक पाकिस्तान का नंबर था) के बारे में पूछताछ की गई, लेकिन उसने दावा किया कि वह उससे संबंधित कुछ भी याद नहीं कर पा रहा है।
एजेंसी ने अदालत से कहा कि अभियोजन पक्ष ने तर्क दिया कि सेव किए गए संपर्क नंबरों की जानकारी निकालना और आरोपी के फ़ोन से प्राप्त डेटा का विश्लेषण करना बेहद ज़रूरी है। इसने कहा कि लेकिन चूँकि इस प्रक्रिया में अतिरिक्त समय लगेगा, इसलिए आरोपी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया जाना चाहिए। इसने कहा कि एटीएस ज़रूरत पड़ने पर शेष 11 दिन की पुलिस हिरासत माँगने का अधिकार सुरक्षित रखती है।
भाषा शुभम नेत्रपाल
नेत्रपाल
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