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Thursday, 25 April, 2024
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भगवा वस्त्र के चलते ताजमहल में प्रवेश नहीं मिलने का दावा करने वाले संत ने धर्म संसद की घोषणा की

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आगरा (उप्र), 30 अप्रैल (भाषा) उत्तर प्रदेश के आगरा स्थित विश्व प्रसिद्ध ताजमहल में 27 अप्रैल को भगवा वस्त्र पहने होने की वजह से प्रवेश नहीं देने का दावा करने वाले अयोध्या के एक संत ने वीडियो संदेश में पांच मई को दोबारा इस स्मारक में लौटने और वहां ‘‘धर्म संसद’’ आयोजित करने की घोषणा की है।

उन्होंने यह भी कहा कि ‘‘संविधान का अनुपालन’’ करते हुए वह भारत को ‘‘हिंदू राष्ट्र’’ घोषित करेंगे और स्मारक (ताजमहल) में शिव की प्रतिमा स्थापित करेंगे।

हालांकि, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) के एक अधिकारी ने कहा कि संत को भगवा वस्त्र पहने होने की वजह से नहीं रोका गया और ‘‘मैंने उनसे बात की और ताजमहल आने के लिए आमंत्रित किया है।’’

एक वीडियो वायरल हुआ है, जिसमें संत ने अपना परिचय अयोध्या स्थित तपस्विनी चवणी पीठाधीश्वर के जगदगुरु परमहंसाचार्य के तौर पर दिया है और दावा किया है कि ताजमहल वास्तव में ‘‘तेजो महालय’’ है।

संत ने कहा, ‘‘ दौरे के दिन…सनातन धर्म संसद का आयोजन होगा और भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित किया जाएगा। ये गतिविधियां संविधान का अनुपालन करते हुए की जाएंगी। मैं हिंदू संगठनों के सदस्यों और अन्य लोगों से बड़ी संख्या में ताजमहल पहुंचने की अपील करता हूं।’’

विश्व प्रसिद्ध स्मारक में प्रवेश करने से कथित तौर पर रोके जाने के संबंध में संत ने कहा, ‘‘ भगवा वस्त्र के कारण 27 अप्रैल को मुझे प्रवेश देने से रोका गया और मैं लौट आया। उसके बाद प्रदर्शन हुआ और राजकुमार पटेल (एएसआई अधिकारी) ने माफी मांगी और मुझे दोबारा आने के लिए आमंत्रित किया है। मैं पांच मई को ताजमहल जाऊंगा और वहां भगवान शिव की प्रतिमा स्थापित करूंगा।’’

मकबरे के बारे में उन्होंने दावा किया, ‘‘आगरा में तेजो महालय है जिसे मुगलों ने ताजमहल दिया था और इतिहास को गलत तरीके से प्रस्तुत किया गया। वह भगवान शिव का मंदिर है।’’

जब आगरा परिक्षेत्र के एएसआई अधीक्षक राजकुमार पटेल से संपर्क किया गया तो उन्होंने ‘‘पीटीआई-भाषा’’ से कहा, ‘‘ इस वायरल वीडियो के बारे में मुझे कुछ नहीं कहना…उन्हें (संत को) भगवा कपड़ों की वजह से नहीं रोका गया और उसके बाद मैंने उनसे बात की तथा ताजमहल आने का न्योता दिया।’’

भाषा धीरज माधव

माधव सुभाष

सुभाष

सुभाष अर्पणा

अर्पणा

सुभाष

सुभाष

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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